जिनेदपुर, बेगूसराय-1960 के दशक मे पूर्णिमा प्रसाद चर्चित चित्रकार एवं कवित्री रहीं थीं.1965 से उन्होंने जिनेदपुर गांव मे महिलाओं मे मुफ्त शिक्षादान कर ज्ञान का दीप प्रज्वलित की थीं. उन्हें अंग्रेजी एवं हिंदी साहित्य का विशद ज्ञान था. उनके पढ़ाये हुए महिला एवं पुरुष कई ऊंच पद पर पदासीन हैँ.वे प्रसिद्ध समाजसेवी स्वर्गीय ब्रजभूषण प्रसाद की धर्मपत्नी थीं.विश्वकृतिमान से अलंकृत प्रतिभागी कवि, कला, साहित्य एवं समाज सेवा मे कई राष्ट्रीय एवं अंतराष्ट्रीय अवार्ड प्राप्त श्री संजय कुमार अम्बष्ट की माँ 79वर्षीय पूर्णिमा प्रसाद अपने निवास जिनेदपुर, बेगूसराय मे ब्रेन हैमरेज से दो दिन कोमा मे रहने के उपरांत दिनांक -20/5/24 को अपराह्न 12.30बजे का देहावसान हो गया. वो अपने पीछे दो पुत्र, चार पुत्री, दो पौत्र, दो पौत्री, चार नाती, पांच नतनी, चार दामाद, दो पुतहू को छोड़ कर चली गयीं हैँ.पूरे ग्रामीणों ने अश्रुपूर्ण आँखों से उन्हें विदाई दिये. अखिल भारतीय कायस्थ कल्याणकारी सभा (पंजीकृत )देश के कई राज्यों मे श्रद्धांजलि अर्पित की गयी. राष्ट्रीय अध्यक्ष निर्दोष कुमार वर्मा, राष्ट्रीय उपाध्यक्ष संजय कुमार अम्बष्ट, राष्ट्रीय संरक्षक बी. के. रावत, कई राष्ट्रीय साहित्यिक एवं सांस्कृतिक संस्थाओं ने इसे अपूरणीय क्षति बताया है.